सादड़ी। आज का युग विज्ञान का युग है। विज्ञान शिक्षण को रुचिकर बनाना समय की आवश्यकता है। इसके बाबत प्रयोगशाला व विज्ञान किट का उपयोग शिक्षकों को करने आना चाहिए। इसमें विज्ञान शिक्षकों का यह दो दिवसीय प्रशिक्षण महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। उक्त उद्गार जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान बगड़ी नगर के उप प्रधानाचार्य मांगीलाल सीरवी ने स्थानीय धनराज बदामिया राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय सादड़ी में कक्षा ६ से ८ वीं की पाठ्य पुस्तक आधारित विज्ञान विषयाध्यापकों का दो दिवसीय प्रायोगिक कार्य प्रशिक्षण के उद्घाटन सत्र में व्यक्त किए।
प्रायोगिक पर जोर देने की आवश्यक्ता
सीरवी ने कहा कि विज्ञान शिक्षण को जीवन से जोडते हुए सीखने के प्रतिफल पर आधारित प्रायोगिक कार्य अधिकाधिक करवाएं। संदर्भ व्यक्ति जीव विज्ञान व्याख्याता मोहन लाल जाट ने कक्षा ६ से ८ की विज्ञान पाठ्यक्रम के अनुसार करणीय प्रयोंगों की जानकारी दी। स्थानीय संस्था प्रधान विजय सिंह माली ने कहा भारत में विज्ञान की गौरवशाली परंपरा रही है। भारत में एक से बढ़कर वैज्ञानिक हुए है, हमें विद्यार्थियों को वैज्ञानिकों की जीवनी पढाने का आव्हान किया।